अयोध्या (उप्र)। अयोध्या में ‘अक्षत पूजा’ के साथ राम मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा समारोह का अनुष्ठान शुरू हो गया है। श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के अधिकारियों ने बताया कि ट्रस्ट ने राम जन्मभूमि पर भगवान राम के दरबार में हल्दी और देसी घी के साथ लगभग 100 क्विंटल साबुत चावल की पूजा के साथ ‘अक्षत पूजा’ का आयोजन किया। इस पूजित चावल को पांच-पांच किलोग्राम क्षमता वाले पीतल के बर्तनों में पैक किया गया और देश के 45 संगठनात्मक प्रांतों से अयोध्या में एकत्र हुए विश्व हिंदू परिषद के 90 पदाधिकारियों को वितरित किया गया जो 22 जनवरी से पहले इसे पूरे देश में वितरित करेंगे।
‘अक्षत’ देशभर के घरों तक पहुंचेगा
‘अक्षत’, पीतल के कलश (पीतल का गोलाकार बर्तन) में संग्रहीत किया गया था जिसे पूजा के दौरान भगवान राम के सामने रखा गया। ट्रस्ट के सचिव चंपत राय ने बताया कि विश्व हिन्दू परिषद के सभी 45 प्रांतों के 90 प्रतिनिधि रविवार को अयोध्या में जुटे, इन प्रतिनिधियों को पांच-पांच किलोग्राम अक्षत दिया गया है। उन्होंने बताया कि प्रांतों के प्रतिनिधि इसे जिला, ब्लॉक, तहसील और ग्राम स्तर के प्रतिनिधियों के बीच वितरित करेंगे। राय ने कहा कि अगले साल एक जनवरी से 15 जनवरी तक भारत के पांच लाख गांवों में पूजित अक्षत बांटा जाएगा।
22 जनवरी को रामलला की प्राण प्रतिष्ठा
ट्रस्ट ने राम मंदिर के बारे में जानकारी देने वाले पर्चे भी प्रकाशित किए हैं, जिन्हें अक्षत के साथ बांटा जाएगा। राय ने अपील की है कि अभिषेक के दिन हर राम भक्त शाम को सरसों के तेल के पांच दीपक जलाए। अगले 22 जनवरी को राम लला की प्राण प्रतिष्ठा की तारीख तय की गई है। उससे पहले देशभर में करोडों भक्तों तक भगवान राम का प्रसाद अक्षत के रुप में पहुंचाया जाना है।
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