पुरुलिया: पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने मंगलवार को आरोप लगाया कि उत्तर प्रदेश में अल्पसंख्यक समुदाय के मतदाताओं की पिटाई की गई और उन्हें वोट नहीं डालने दिया गया। (Minority voters) मुख्यमंत्री ने कहा,“मुझे जानकारी मिली है कि उत्तर प्रदेश में अल्पसंख्यक मतदाताओं को डराया जा रहा है और वोट नहीं डालने दिया जा रहा है। मेरा सवाल यह है कि क्या भारत का चुनाव आयोग इस पर कोई कार्रवाई नहीं करेगा? आदर्श आचार संहिता का क्या हो रहा है?”
10 लाख पदों पर नियुक्तियां (Minority voters)
वह मंगलवार दोपहर पुरुलिया लोकसभा क्षेत्र में तृणमूल कांग्रेस के उम्मीदवार शांतिराम महतो के समर्थन में एक चुनावी रैली को संबोधित कर रही थीं। ममता बनर्जी ने दावा किया कि मैं 10 लाख पदों पर नियुक्तियां देने को तैयार हूं, लेकिन भाजपा और सीपीआई (एम) की साजिश के कारण इस दिशा में आगे नहीं बढ़ पा रही हूं। वे मामले दर्ज कर नई नियुक्तियों को रोक रहे हैं। ममता बनर्जी ने एक बार फिर कहा कि वह पश्चिम बंगाल में सीएए, एनआरसी और समान नागरिक संहिता लागू नहीं होने देंगी।
इस अवसर पर बोलते हुए, उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि भाजपा और सीपीआई (एम) मिलकर न केवल मौजूदा स्कूल नौकरियों को रद्द करने की साजिश रच रहे हैं, बल्कि कई पदों पर नई नियुक्तियां भी नहीं होने दे रहे हैं। मैं 10 लाख पदों पर नियुक्तियां देने को तैयार हूं I लेकिन, भाजपा और सीपीआई (एम) की संयुक्त साजिश के कारण मैं इस दिशा में आगे नहीं बढ़ पा रही हूं।’ वे मामले दर्ज करके नई नियुक्तियों को रोक रहे हैं, ”ममता बनर्जी ने दावा किया।
पश्चिम बंगाल में सभी दलों ने दर्ज कराईं शिकायतें
बता दें कि मंगलवार को वोटिंग में हिंसा की छिटपुट घटनाओं के कारण मुर्शिदाबाद और जंगीपुर सीटों के विभिन्न हिस्सों में तृणमूल कांग्रेस, बीजेपी और कांग्रेस-CPM कार्यकर्ता एक-दूसरे से भिड़ गए। मुर्शिदाबाद में सबसे अधिक 76.49 प्रतिशत मतदान हुआ। मालदा दक्षिण में 73.68 प्रतिशत, मालदा उत्तर में 73.30 प्रतिशत और जंगीपुर में 72.13 प्रतिशत मतदान दर्ज किया गया। हिंसा को लेकर TMC, बीजेपी और कांग्रेस-CPM ने चुनावी हिंसा, मतदाताओं को डराने-धमकाने और चुनाव एजेंट पर हमले से संबंधित अलग-अलग शिकायतें दर्ज कराईं।
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